दिल्ली/फरीदाबाद/ हरियाणा। दहेज प्रताडना का मामला दर्ज होने के बाद टूटते परिवार को और दरकते रिश्तों में आशा की एक नई किरण जागी है। अब दहेज मामले में पुलिस सीधे तौर पर मुकदमा दर्ज नही कर पायेगी। इतना ही नही पति,सास,ससुर एंव नंद की गिरफ्तार भी नही हो पायेगी। दहेज के फर्जी मुकदमें पर संज्ञान लेते हुए उच्च न्यायलय ने आदेश जारी किया है कि पुलिस सीेधे तौर पर मुकदमा दर्ज करने की बजाए पहले फैमिली वेलफेयर कमेटी सुनवाई करेगी। कमेटी के निर्णय बाद ही मुकदमा पंजीकृत होगा और पुलिस जांच शुरू करेगी। हांलाकि इसके बादजूद भी पुलिस गिरफ्तारी नही कर पायेगी। यदि जांच में दोषी पाए गए तो पुलिस पति के साथ सभी आरोपियों को मात्र केवल पांबद करेगी। पुलिस मामले की जांच कर कोर्ट में चालान पेश करेगी तब पांबदशुदा व्यक्ति कोर्ट में पेश होगा। इस तरह के मामले में उच्च न्यायलय ने फैमिली वेलफेयर कमेटी और पुलिस को दिशा-निर्देश जारी किए हुए है कि मुकदमा पंजीकृत करने से पूर्व आपसी सलाह से मामला निपटा दिए जाए।